राजनांदगांव। जिले में वन विभाग से जुड़ा एक बड़ा घोटाला सामने आया है, जिसमें 93 लाख रुपए से अधिक की आर्थिक अनियमितता का मामला प्रकाश में आया है। इस मामले में तेंदूपत्ता खरीदार, रेंजर सहित कुल 10 वनकर्मियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है।
घोटाला मोहला के जीई रोड स्थित मैदानी गोदाम में वर्ष 2022 में तेंदूपत्ता विक्रय के दौरान हुआ। खरीददार ने राशि का भुगतान संबंधित समितियों को न कर सीधे विभागीय कर्मचारियों को कर दिया। जांच में यह भी सामने आया कि तेंदूपत्ता बिक्री की अनुमति लेने से पहले ही खरीदार से भुगतान ले लिया गया, जो नियमों का सीधा उल्लंघन है।
सरकारी दर 134 रुपये प्रति मानक बोरा थी, लेकिन संबंधित कर्मचारियों ने केवल 100 रुपये प्रति बोरा की दर पर तेंदूपत्ता बेचा। इस तरह हर बोरे पर 34 रुपये का नुकसान हुआ, जिससे कुल घोटाला 93 लाख 34 हजार रुपये तक जा पहुंचा।
वन मंडलाधिकारी द्वारा की गई प्रारंभिक जांच में घोटाले की पुष्टि हुई। जांच रिपोर्ट के आधार पर तेंदूपत्ता खरीदार सुजीत माने सहित विभागीय रेंजर व अन्य कर्मचारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है। इन पर आरोप है कि उन्होंने भुगतान राशि को समिति के खाते में जमा न कर निजी स्तर पर लेन-देन किया।
