सावन के पहले सोमवार को पहुंची भक्तों की भीड़, मंदिरों में भी विशेष पूजा

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आज सावन का पहला सोमवार है। इस वजह से शिवालयों में सुबह से ही भक्तों की भीड़ है। हर कोई भगवान शंकर के दर्शन कर उन्हें जल चढ़ाना चाहता है। ​​​गरियाबंद जिले में स्थित `भूतेश्वर महादेव` में भी भक्तों की भारी भीड़ उमड़ रही है। ऐसी मान्यता है कि यहां शिवलिंग की ऊंचाई हर साल बढ़ती है। यहां न सिर्फ छत्तीसगढ़ से, बल्कि दूसरे राज्यों से भी लोग दर्शन के लिए पहुंचते हैं।

हर साल बढ़ती है शिवलिंग की उंचाई

गरियाबंद जिला मुख्यालय से 3 किलोमीटर की दूरी पर बसे ग्राम मरौदा के जंगलों में प्राकृतिक शिवलिंग `भूतेश्वर महादेव` स्थित है। ऐसा कहा जाता है कि इस शिवलिंग की उंचाई हर साल बढ़ती है। यहां न सिर्फ छत्तीसगढ़ से, बल्कि दूसरे राज्यों से भी लोग दर्शन के लिए पहुंचते हैं।

सावन के महीने में इस मंदिर में भारी भीड़ होती है। इस बार भी कुछ ऐसा ही नजारा देखने को मिला। सुबह से लोग मंदिर पहुंचते रहे। भगवान शंकर को जल चढ़ाया गया। भूतेश्वर महादेव के पुजारी रामाधार का कहना है कि हर वर्ष सावन मास में दूर-दराज से कांवड़िए (भक्त) भूतेश्वर महादेव की पूजा-अर्चना करने आते हैं।

भूतेश्वर महादेव के दर्शन करने भी सुबह से लोग पहुंचते रहे।

महाशिवरात्रि पर नापी जाती है ऊंचाई

उन्होंने बताया कि हर साल महाशिवरात्रि पर भूतेश्वर महादेव की ऊंचाई नापी जाती है। भूतेश्वर महादेव को भकुर्रा महादेव भी कहते हैं। यह संभवत: विश्व का पहला ऐसा शिवलिंग है, जिसकी ऊंचाई हर साल बढ़ती है।

वर्तमान में 80 फीट है ऊंचाई

लोगों के मुताबिक शिवलिंग की पहले ऊंचाई तीन फीट थी। 1952 में 35 फीट थी और व्यास 150 फीट था। 1978 में इसकी ऊंचाई 40 फीट बताई गई। 1987 में 55 फीट और 1994 में नाप करने पर 62 फीट और उसका व्यास 290 फीट बताया गया था। अब कहा जाता है कि वर्तमान में इसकी उंचाई 80 फीट है।

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