रायपुर। छत्तीसगढ़ के 2003 बैच के सीनियर आईपीएस अफसर रतन लाल डांगी पर एक सब-इंस्पेक्टर की पत्नी ने यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया है। वहीं आईपीएस डांगी ने महिला पर ब्लैकमेलिंग का आरोप लगाया है। उन्होंने डीजीपी को पत्र लिखते हुए इसे ब्लैकमेल का मामला बताया और कहा कि संबंधित महिला उन्हें लंबे समय से धमकाकर पैसे वसूलने की कोशिश कर रही थी।
अब इस मामले में नया खुलासा हुआ है। आरोप लगाने वाली महिला के पति, जो स्वयं पुलिस विभाग में सब-इंस्पेक्टर (एसआई) हैं, को लेकर अब कई सवाल उठ रहे हैं।
सूत्रों के मुताबिक, महिला का पति वर्ष 2012 में प्रमोशन पाकर एसआई बना था। इसके बाद वह 10 से अधिक थानों और चौकियों में प्रभारी रह चुका है। आमतौर पर चौकियों का प्रभार उप-निरीक्षकों के पास होता है, लेकिन जिस रेंज में रतन लाल डांगी आईजी रहे, उसी क्षेत्र के कई थानों का प्रभार इस एसआई को मिला।
इससे यह सवाल उठने लगे हैं कि क्या यह पदस्थापन महिला के प्रभाव में हुआ, या इसके पीछे कोई और वजह थी।
डांगी ने डीजीपी को भेजे गए 14 बिंदुओं वाले पत्र में यह भी उल्लेख किया है कि महिला द्वारा वसूली की कोशिशें की गई थीं। ऐसे में अब यह जांच का विषय है कि क्या वसूली महिला के पति की पोस्टिंग के बदले की जाती थी, या फिर आईजी के नाम पर कोई अन्य लेनदेन हो रहा था।
दो सदस्यीय जांच समिति गठित
राज्य सरकार ने मामले की गंभीरता को देखते हुए दो सदस्यीय जांच समिति गठित की है। आईपीएस आनंद छाबड़ा और आईपीएस मिलना कुर्रे इस समिति में शामिल हैं। यह टीम महिला के यौन उत्पीड़न के आरोपों के साथ-साथ आईपीएस डांगी के ब्लैकमेल और वसूली के दावों की भी जांच करेगी।
